मां सिद्धिदात्री – नवरात्रि के पावन अवसर पर मां आदि शक्ति की सिद्धि दात्री रूप की उपासना की जाती है मां की उपासना से सभी सिद्धियां तथा तथा सभी सुखो की प्राप्ति होती है। नवरात्रि के नवे मां आदि शक्ति के सिद्धिदात्रि स्वरूप की उपासना की जाती है ये सभी प्रकार की सिद्धि देने वाली होती है नवरात्रि के नवे दिन इनकी पूर्ण शास्त्रीय विधान से पूजा करने पर पूर्ण निष्ठा के साथ पूजा करने पर साधक को सभी प्रकार की सिद्धि प्राप्त होती है साधक के लिए ब्रम्हाण्ड में कुछ भी असाध्य नहीं रह जाता है ब्रम्हाण्ड पूर्ण विजय प्राप्त करने की सामार्थ्य उसमें आ जाती है। मार्कण्डेय पूराण के अनुसार अणिमा महिमा गरिमा लघिमा प्राप्ति प्राकाम्य ईशित्व और वशित्व ये आठ प्रकार की सिद्धियां होती हैं। ब्रम्हवैवर्तपुराण के अनुसार श्री कृष्ण जन्म खण्ड में इनकी संख्या अठारह बताई गई है 1 . अणिमा 2 . लघिमा 3 . प्राप्ति 4 . प्राकाम्य 5 . महिमा 6 . ईशित्व , वाशित्व 7 . सर्वकामावसायिता 8 . सर्वज्ञत्व 9 . दूरश्रवण 10 . परकायप्रवेशन 11 . वाक्सि
विटामिन डी D के बारे में जानकारी – share
विटामिन
डी वसा में घुलनसील विटामिन है। जब शरीर सुर्य के प्रकाश ( धूप ) में आता है तब शरीर में बनने वाला एक स्टेरॉयड है। अगर आप को पर्याप्त
मात्रा में धूप नहीं मिलती है यदि आप किसी एैसी जगह में रहते है जहां धूप कम आती
है तो इस स्थिति में सप्लीमेंट्स से भी विटामिन डी की पूर्ति की जा सकती है।
दूध या
अंडे जैसे पदार्थों से मिलने वाला विटामिन डी हडिड्यों और सम्पूर्ण सेहत के लिए
पर्याप्त नहीं होता है। अब, आपको यह कैसे पता चलेगा कि आपको पर्याप्त धूप मिल रही है या नहीं और शरीर
इसको विटामिन डी में परिवर्तित कर रहा है या नहीं
विटामिन डी के बारे में कुछ महत्वपूर्ण
जानकारी दी है।
1. विटामिन डी के फायदे
2. विटामिन डी कितना खाना चाहिए
3. विटामिन डी कि स्त्रोत
4. यदि आवश्यकता से कम मात्रा में विटामिन
डी लें तो क्या होता है
5. जादा मात्रा विटामिन डी लेने से नुकसान
6. क्या विटामिन डी स्तन कैंसर के जोखिम को कम करता है
7. बुजुर्गों का गिरना रोकने के लिए सहायक है
विटामिन डी फायदे –
हमारे
शरीर के लिए विटामिन डी बहुत जरूरी है। इसके कुछ फायदे इस प्रकार है-
· विटामिन डी हमारे शरीर में सीरम कैल्शियम
और फास्फोरस की सही मात्रा को बनाये रखने में मदद करता है।
· साथ में यह इन खनिजों का आंत में अवशोषण
कर के हडिड्यों तक पहुंचाने का काम भी करता है।
· हडिड्यों को स्वास्थ्य रखने के लिये
विटामिन डी बहुत ही लाभदायक है
· विटामिन डी हमारे शरीर में संक्रमण की
प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है।
· मांसपेशियों और नसों के लिए विटामिन डी
बहुत ही आवश्यक है।
· यह ह्दय रोग और हाई बीपी से भी हमें
छुटकारा दिलाने में मदद करता है।
· यह दिमाक को तेज रखने के लिये बहुत ही
महत्वपर्ण है।
विटामिन डी कितना खाना आवश्यक है –
हर व्यक्ति
के लिए विटामिन डी की जरूरत अलग अलग होती है। यह आपकी उम्र, लिंग और स्वास्थ्य
स्थिति के अनुसार कुछ इस तरह से होती है
· 1 से 13 साल के बच्चे को 600 IU के करीब लेना चाहिए।
· 6 महीने के बच्चे के उम्र के शिशु को 400 IU के करीब लेना चाहिए।
· 14 और 18 साल के पुरूष को 600 IU के करीब लेना चाहिए।
· 14 से 18 साल की महिला को 600 IU के करीब लेना चाहिए।
· 19 से 50 साल के पुरूष को 600 IU तक ही लेना चाहिए।
· 19 से 50 साल की महिला को 600 IU तक ही लेना चाहिए।
· गर्भवती महिला को 600 IU के करीब ही लेना चाहिए।
· स्तनपाल कराने वाली महिला को 600 IU के करीब लेना चाहिए।
विटामिन डी के स्त्रोत
विटामिन डी के स्त्रोत कुछ इस प्रकार है
· धूप
· दूध
· अंडे का पीला भाग
· टमाटर
· हरी सब्जिया
· नींबू
· माल्टा
· मूली
· पत्ता गोभी
· पनीर
अगर जरूरत से कम मात्रा में विटामिन डी लें
तो क्या होता है-
विटामिल
डी एक एंटी- ऑक्सीडेंट
के रूप में भी कार्य करता है इसमें रोग प्रतिरोधक क्षमता पाई जाती है जिससे ये
हमारे शरीर की काफी बीमारियों से बचाव भी करता है एंव इसके अलावा विटामिन डी की
कमी से अनेको स्वास्थ्य समस्याऐं या परेशानियां हो सकती है –
बच्चों में –
·
मांसपेशियों में ऐंठन
· देर से चलना या फिर खड़ा होना
· चिड़चिड़ापन
· कमजोर खोपड़ी या नरम घुमावदार पैर
· सांस लेने मेूं दिक्कत
· बार – बार संक्रमण
वयस्कों में –
·
हडिड्यों में दर्द
· मासपेशियों में दर्द ।
· मांसपेशियों की कमजोरी
· थकान
· बहुत ज्यादा पसीना आना
· बेचैनी
· सिढि़यॉं चढ़ने में दिक्कत
· मनोबल कम होना
· बालों का झड़ना
· कमजोर दांत
· कलाई और एडि़यों का फूलना
· सोरायसिस
· डायबिटिज
· हाई ब्लड प्रेशर
· ह्दय रोग
· श्र्वसन संक्रमण कब्ज
· दस्त
अधिक मात्रा में विटामिन डी लेने ये कई
नुकसान –
विटामिन
हमारे लिये बहुत जरूरी है जो कोशिकाओं को क्षतिग्रस्त होने से बचाता है यह एक
एंटी – ऑक्सीडेंट के रूप में भी
काम करता है विटामिन डी का अधिक सेवन हमारे हानिकारक हो सकता है। इसके अधिक सेवन
से हमारे शरीर में कैल्शियम की मात्रा अधिक हो जाती है जिसके कारण हमारे शरीर में
अनेक प्रकार की समस्या होने लगती हैं
जैसे इस
प्रकार -
· भूख न लगना
· बार बार पेशाब आना
· कमजोरी होना
· हार्ट अटैक का खतरा आदि
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